G20 Summit 2023: नई दिल्ली में G20 विदेश मंत्रियों की मीटिंग में श्रीलंका के विदेश मंत्री एम. यू. एम. अली साबरी ने भारत-चीन को लेकर बड़ा बयान दिया है. अली साबरी ने कहा, “श्रीलंका किसी भी देश को द्वीप का इस्तेमाल भारत के राष्ट्रीय सुरक्षा हितों के खिलाफ नहीं करने देगा. बता दें कि लंबे समय से आशंका जताई जा रही है कि चीन श्रीलंका की धरती का इस्तेमाल भारत के खिलाफ कर सकता है.
दरअसल, श्रीलंका अबतक के सबसे बुरे आर्थिक संकट का सामना कर रहा है, इसी को लेकर चीन ने श्रीलंका को अपने कर्ज के जाल में फंसा लिया है. पिछले साल भारत की चिंताएं तब बढ़ गईं जब हंबनटोटा बंदरगाह पर चीन का जासूसी जहाज ठहर गया. इसका असर दिल्ली और कोलंबो के रिश्तों पर पड़ने की आशंका थी. मगर, श्रीलंका के विदेश मंत्री के बयान से काफी हद तक तस्वीर साफ हो गई है.
मदद करने के लिए भारत की तारीफ
अली साबरी ने इतिहास के सबसे गंभीर आर्थिक संकट से निपटने में श्रीलंका की मदद करने के लिए भारत की तारीफ की. गौरतलब है कि पिछले साल जब श्रीलंका गंभीर आर्थिक संकट से जूझ रहा था, उस वक्त भारत ने उसे करीब चार अरब अमेरिकी डॉलर की आर्थिक सहायता दी थी, जिसमें खाद्य पदार्थ और ईंधन खरीदने के लिए ‘लाइन ऑफ क्रेडिट’ (एक प्रकार का साख ऋण) भी शामिल था.
भारत ने संस्था को गारंटी दी
इतना ही नहीं अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) से श्रीलंका को 2.9 अरब अमेरिकी डॉलर की सहायता राशि पाने में भारत ने संस्था को गारंटी भी दी. अली साबरी ने कहा, “मैनें नई दिल्ली की अपनी आधिकारिक यात्रा के दौरान भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर से हैदराबाद हाउस में मुलाकात की. हमारे बीच उपयोगी द्विपक्षीय बातचीत हुई और हमने भारत-श्रीलंका संबंधों की वर्तमान स्थिति की समीक्षा की.”
विदेश मंत्री एम. यू. एम. अली साबरी ने एक इंटरव्यू में आर्थिक सुधार को बढ़ावा देने के लिए नई दिल्ली के साथ मिलकर काम करने की सरकार की योजनाओं के बारे में बताया. चीन के जासूसी जहाज के हंबनटोटा बंदरगाह पर आने के बाद भारत और श्रीलंका के रिश्तों में खटास की आशंकाओं पर उन्होंने कहा, ”जब आप दो देशों के साथ काम करते हैं, यहां तक कि एक परिवार में भी विचारों में मतभेद होते हैं, विवाद नहीं होता.”
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