Shelly Oberoi Delhi Mayor: दिल्ली नगर निगम का चुनाव पिछले साल दिसंबर के महीने में हुआ और तब से यहां का मेयर चुना जाना बाकी था. बुधवार (22 फरवरी) ऐसा दिन आया जब दिल्ली के मेयर के रूप में शैली ओबेरॉय को चुन लिया गया.
आम आदमी पार्टी की शैली ने बीजेपी की रेखा गुप्ता को 34 वोटों से हरा दिया और आप में एक बार फिर जश्न का माहौल बन गया. सीएम अरविंद केजरीवाल ने इस पर प्रतिक्रिया दी और कहा कि गुंडे हार गए. इसके बाद डिप्टी मेयर के रूप में AAP के आले मोहम्मद इकबाल को चुना गया.
इसके बाद स्टैंडिंग कमेटी के छह सदस्यों के चुनाव को लेकर बवाल शुरू हो गया, जो रात के 12 बजे तक जारी रहा. आप और बीजेपी के पार्षद एक दूसरे पर कागज फेंके. शैली ओबेरॉय ने ट्वीट कर आरोप लगाया कि बीजेपी के पार्षदों ने उनपर हमला करने की कोशिश की.
#WATCH | Delhi: Ruckus between BJP & AAP members inside the MCD house over the election of members of the standing committee. pic.twitter.com/alIZFIFFnr
— ANI (@ANI) February 22, 2023
10 बड़ी बातें-
- चुनाव में संख्या बल आप के पक्ष में था, जिसे कुल 274 वोटों में से बीजेपी के 113 वोटों के मुकाबले 150 वोट मिले. दो वोट निर्दलीय पार्षदों के थे. ओबेरॉय को उनकी पार्टी के हिसाब से सभी वोट मिले, जबकि बीजेपी को अपनी कुल संख्या के मुकाबले तीन वोट ज्यादा मिले.
- दिल्ली को चौथे प्रयास में महापौर मिला क्योंकि उपराज्यपाल के मनोनीत सदस्यों को मतदान का अधिकार दिए जाने को लेकर हंगामे के बीच पूर्व में चुनाव ठप हो गया था. पिछले हफ्ते, दिल्ली के उपराज्यपाल वी के सक्सेना ने सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद मेयर का चुनाव कराने के लिए एमसीडी सदन की बैठक बुलाने को अपनी मंजूरी दे दी थी.
- मेयर बनने के बाद ओबेरॉय ने कहा, “मैं मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल, मनीष सिसोदिया और दिल्ली के लोगों को धन्यवाद देती हूं. अगले 3 दिन में हम यहां लैंडफिल साइट का निरीक्षण करेंगे.’
- दिल्लीवासियों को बधाई देते हुए केजरीवाल ने ट्वीट किया, ‘‘गुंडे हार गए, जनता जीत गई. दिल्ली नगर निगम में आज दिल्ली की जनता की जीत हुई और गुंडागर्दी की हार. शैली ओबेरॉय के महापौर चुने जाने पर दिल्ली की जनता को बधाई.’’
- वहीं, स्टैंडिंग कमेटी का चुनाव फंसा हुआ है. सदन में पार्षदों को बुलाकर वोटिंग कराई जा रही थी. जैसे ही वोटिंग के लिए 5 पार्षदों को बुलाया गया, सदन में हंगामा हो गया और जिन 5 पार्षदों को वोटिंग के लिए बैलेट दिए गए थे, वो पार्षद बैलेट पेपर वापस ही नहीं किए. बीजेपी पार्षदों की मांग मान लेने के बावजूद स्टैंडिंग कमेटी के सदस्यों का चुनाव फंस गया है. आम आदमी पार्टी ने कहा है कि वो रातभर बैठेंगे.
- बीजेपी की तरफ से आम आदमी पार्टी को निशाने पर लिया जा रहा है, जोर देकर कहा जा रहा है कि जान बूझकर चुनाव करवाने में देरी की जा रही है. तो वहीं सदन में BJP पार्षदों ने AAP के पार्षदों को धकेला.
- 6 जनवरी की बैठक में बीजेपी और आप के सदस्यों की तीखी बहस हो गई थी, जिसके चलते कार्रवाई को स्थगित करना पड़ा था. इसके बाद 24 जनवरी और 6 फरवरी को भी हंगामे के कारण वोटिंग नहीं हो सकी थी. हंगामे की वजह LG वीके सक्सेना की ओर से मनोनीत 10 MCD सदस्यों को वोट देने की अनुमति का फैसला था. इसे लेकर AAP की मेयर प्रत्याशी शैली ओबेरॉय सुप्रीम कोर्ट पहुंच गई थीं.
- 17 फरवरी को सुप्रीम कोर्ट ने AAP के पक्ष में फैसला सुनाया था. सुप्रीम कोर्ट ने स्पष्ट कर दिया था कि एलजी की ओर से नामित किए पार्षद मेयर के चुनाव में वोट नहीं डालेंगे. कोर्ट ने 24 घंटों के अंदर नोटिस जारी करने के लिए कहा था. इसके बाद दिल्ली के मुख्यमंत्री केजरीवाल ने उपराज्यपाल को 22 फरवरी को चुनाव कराने का प्रस्ताव दिया था, जिसे उन्होंने मान लिया था.