Categories: Life Style

National Cashew Day Is Celebrated Every Year On November 23

हर साल 23 नवंबर को देश-दुनिया में नेशनल काजू डे मनाया जाता है. इस दिन को एक खास दिन के रूप में मनाने का रिवाज अमेरिका से शुरू हुआ है. किडनी के आकार का यह ड्राई फ्रूट्स सिर्फ अमेरिका में ही नहीं पूरी दुनिया में पसंद किया जाता है. काजू का इस्तेमाल खाने से लेकर खाना बनाने तक में इस्तेमाल किया जाता है. नेशनल काजू डे मनाने के पीछे लक्ष्य यह है कि लोग इस हेल्दी ड्राई फ्रूट्स को अपने डाइट का हिस्सा बनाएं. काजू एंटीऑक्सीडेंट और आयरन से भरपूर होता है.  पहली बार इस दिन को 23 नवंबर 2015 में मनाया गया. जिसके बाद हर साल इसे मनाया जाता है. 

पूरी दुनिया में जितने भी ड्राई फ्रूट्स पाए जाते हैं उसमें काजू का स्वाद सबसे अलग है. यह गुणों से भरपूर होने के साथ-साथ शरीर को हेल्दी कोलेस्ट्रो़ल देता है और खराब कोलेस्ट्रॉल शरीर से बाहर निकालता है. काजू खाने से दिमाग मजबूत रहता है. साथ ही स्किन की चमक बढ़ाने के लिए भी काफी अच्छा है. काजू तो वैसे विदेशी ड्राई फ्रूट्स है लेकिन भारत की मिट्टी और जलवायु इसके लिए ज्यादा अनुकूल है. इसी का नतीजा है कि भारत में इसकी खूब खेती होती है और विदेश भेजा जाता है. 

काजू का इतिहास

‘काजू’ का नाम पुर्तगाली ट्यूपियन शब्द ‘अकाजू’ से लिया गया है. जिसका अर्थ है अखरोट से खुद पैदा हुआ मेवा. काजू दूसरे  ड्राईफ्रूट्स से काफी अलग तरीके से उगता है यह एक सेब की तरह फल के नीचे उगता है. काजू के पेट आमतोर पर काफी ज्यादा विशाल और बड़े-बड़े होते हैं. लेकिन नेटाल, रियो ग्रांडे डो नॉर्ट, ब्राज़ील, दुनिया के सबसे बड़े काजू के पेड़ का घर है. यह काजू का पेड़ 81,000 वर्ग फुट से अधिक में फैला हुआ है. जो भारत में पाए जाने वाले काजू के पेड़ से 70 गुना बड़ा है. काजू जब कच्चा होता है तो उसके बाहर कवर में एनाकार्डिक एसिड होता है जो त्वचा में होने वाले जलन को ठीक करने में काफी ज्यादा मददगार है. यही कारण है कि जब 1558 में यूरोपियन ने काजू की खोज की तो उन्हें लगा कि यह खाने लायक नहीं है. 

पुर्तगाल के एक स्थानीय मूल्य जनजाति टुपी इंडियंस ने काजू का खोज किया . पुर्तगाली अखरोट के शौकीन होते हैं इसलिए वह जब भारत आए तो काजू लेकर आए. जिसके बाद भारत में काजू को उगाया गया है. काजू दक्षिण पूर्व एशिया और अफ्रीका में तेजी से फैल गया और उनके भोजन और व्यापार का अनिवार्य हिस्सा बन गया। 1905 तक काजू संयुक्त राज्य अमेरिका तक नहीं पहुंचा था. शुरुआत में इनका प्रसार धीमी गति से हुआ, यह 1920 के दशक के मध्य में लोकप्रिय हुआ जब जनरल फ़ूड कॉर्पोरेशन ने नियमित रूप से अमेरिका और यूरोप में काजू भेजना शुरू किया. एक बार जब अमेरिकियों को इसका स्वाद चखना पड़ा, तो काजू की मांग बढ़ गई। 1941 तक भारत से लगभग 22,046.23 टन सालाना आयात किया जाता था.

काजू खाने के फायदे

ड्राई फ्रूट्स सभी को पसंद होते हैं, इसमें भी सबसे ज्यादा पसंद किया जाने वाला सूखा मेवा है काजू. काजू (Cashew) पोषक तत्वों से भरपूर होता है. इसका उपयोग मिठाइयों, मीठे पकवानों में तो किया ही जाता है. वहीं, इसकी सब्जी भी बड़े चाव से खाई जाती है. पुलाव में काजू डालने से स्वाद ही लाजवाब हो जाता है. टेस्टी होने के साथ ही काजू शरीर के लिए बेहद भी फायदेमंद (Benefits of Kaju) होता है. विशेष तौर पर काजू का इस्तेमाल हमारे दिल की सेहत को बेहतर बनाए रखने के फायदेमंद है. काजू के सेवन से बॉडी मेटाबॉलिज्म सही रहता है. काजू में मोनोअनसैचुरेटेड और पॉलीअनसैचुरेटेड वसा होती  हैं, जो स्वस्थ आहार वसा के अच्छा  स्रोत हैं. ये वसा एलडीएल कोलेस्ट्रॉल (खराब कोलेस्ट्रॉल) को कम करने में मदद करता है, जिसके बढ़ने पर दिल से जुड़े रोग हो सकते हैं.

काजू में पाए जाते हैं पॉवरफुल तत्व 
काजू में मैग्नीशियम, कॉपर, मैंगनीज, जिंक, पोटेशियम, सेलेनियम जैसे मिनरल्स होते हैं, जो सेहत बनाए रखते हैं. काजू में कोलेस्ट्रॉल का लेवल बहुत ही कम होता है. इसमें पाया जाने वाला एंटी-ऑक्सीडेंट्स इतना पावरफुल होता है कि दिल की बीमारियों से आपको दूर रखता है. आइए जानते हैं काजू खाने से क्या-क्या फायदे होते हैं..
 
दिल की सेहत रखे तंदुरुस्त
काजू में मौजूद ओलिक एसिड दिल की बीमारियों के जोखिम को काफी हद तक कम करने में सहायक होता है. काजू असंतृप्त वसा एचडीएल कोलेस्ट्रॉल के स्तर यानी की अच्छे कोलेस्ट्रॉल के स्तर में इजाफा करता है. वहीं,  ट्राइग्लिसराइड लेवल और  ब्लड प्रेशर को कम करने में बहुत कारगर होता है. 
 
काजू की ये क्वालिटी बीपी को कंट्रोल करती है
काजू की लो ब्लड प्रेशर कैपेसिटी इसके हाई पोटेशियम और लो सोडियम कंटेंट की वजह से होती है, जो बीपी कंट्रोल करता है. यह हाई ब्लड प्रेशर, दिल के दौरे और स्ट्रोक के खतरे को कम करने में सहायक है. 

काजू खाने के नुकसान

जो लोग माइग्रेन और सिरदर्द की बीमारी से पीड़ित हैं उन्हें काजू नहीं खाना चाहिए. ज्यादा काजू खाने से हाई बीपी की शिकायत होती है. काजू में पोटैशियम औप सोडियम की मात्रा काफी अधिक होती है. इसलिए हद से ज्यादा खाने से दिल का दौरा, कमजोरी जैसी दिक्कत पैदा हो सकती है. यह हाई बीपी का कारण भी बन सकता है. इसमें फाइबर भी भरपूर मात्रा में होता है जिसके कारण गैस की समस्या हो सकती है.

ये भी पढ़ें: आपके तकिये का कवर भी आपको कर सकता है बीमारी, जान लीजिए वो कैसा होना चाहिए?

Check out below Health Tools-
Calculate Your Body Mass Index ( BMI )

Calculate The Age Through Age Calculator

Source link

jaghit

Recent Posts

'मुख्यमंत्री कोविड-19 बाल सेवा योजना' के लिए नहीं है बजट? अब मंत्री नरेंद्र पटेल ने किया ये दावा

<p style="text-align: justify;"><strong>Madhya Pradesh News Today:</strong> भारत सहित पूरी दुनिया ने 3 साल वैश्विक महामारी…

4 days ago

Inside Hina Khan’s Pre-Birthday Celebrations With Rocky Jaiswal And Mother In Goa

Hina Khan’s birthday is on October 2. (Photo Credits: Instagram)From a stunning view of her…

4 days ago

Swiggy IPO Gets Sebi Approval: All You Need to Know About Rs 11,000-Crore Issue

Food and grocery delivery major Swiggy has received markets regulator Sebi’s clearance to launch its…

4 days ago

‘Imprints of Make in India visible everywhere’: PM Modi lauds 10 years of flagship initiative | India News

NEW DELHI: Prime Minister Narendra Modi on Wednesday lauded the efforts of each and every…

4 days ago

Waqf Amendment Bill JPC 1 Crore Emails Nishikant Dubey VHP Vinod Bansal Said it Email Jihad | वक्फ बिल पर 1 करोड़ से ज्यादा सुझाव: VHP बोली

Waqf Amendment Bill Email: वक्फ संशोधन बिल पर संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) को सुझाव के लिए…

4 days ago

Georgia Meloni and Elon Musk date truth behind the viral photos

Meloni And Musk Viral Photos : दुनिया के सबसे अमीर शख्स एलन मस्क ज्यादातर किसी…

4 days ago