First Gay Woman Elected Massachusetts Governor: अमेरिका में हुए मध्यावधि चुनाव (US Midterm Elections) के नतीजे सामने आ रहे हैं. मैसाचुसेट्स (Massachusetts) में पहली बार किसी समलैंगिक महिला (Lesbian) को गवर्नर चुना गया है. डेमोक्रेटिक अटॉर्नी जनरल (Democratic Attorney General) मौरा हेली (Maura Healey) मैसाचुसेट्स की पहली महिला और खुले तौर पर समलैंगिक गवर्नर (Massachusetts Governor) बन गई हैं.
51 वर्षीय हेली ने रिपब्लिकन पार्टी के जैफ डिएल (Geoff Diehl) को हराया है, जो कि राज्य के एक पूर्व प्रतिनिधि हैं और उन्हें पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (Donald Trump) का समर्थन प्राप्त था. हेली के गवर्नर बनने से मैसाचुसेट्स में आठ साल बाद डेमोक्रेट पार्टी ने कार्यालय में वापसी की है.
वोटों के इतने भारी अंतर से जीतीं मौरा हेली
मौरा हेली ने अपने प्रतिद्वंद्वी जैफ डिएल को 5,89,730 मतों के अंतर से हराया. हेली को 63.2 फीसदी यानी 13,32,695 वोट मिले जबकि डिएल को 35.2 फीसदी यानी 7,42,965 मत हासिल हुए. 1.6 फीसदी मत लिबर्टेरियन पार्टी के केविन रीड को मिले. उन्हें कुल 33,703 वोट हासिल हुए.
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इससे पहले मैसाचुसेट्स में पिछले आठ वर्षों से रिपब्लिकन पार्टी के चार्ली बेकर (Charlie Baker) गवर्नर थे, उन्होंने चुनाव नहीं लड़ने का फैसला किया था. हेली के अलावा ओरेगन (Oregon) से डेमोक्रेट पार्टी ने एक और समलैंगिक उम्मीदवार टीना कोटेक (Tina Kotek) को गवर्नर की रेस में उतारा था. खबर लिखे जाने तक कोटेक परिणामों में 46 फीसदी मतों के साथ आगे चल रही थीं.
इन वादों के साथ चुनाव लड़ीं हेली
चुनाव अभियान में हेली ने नौकरी के लिए प्रशिक्षण कार्यक्रमों का विस्तार करने, चाइल्ड केयर को ज्यादा किफायती बनाने, स्कूलों का आधुनिकीकरण करने और मैसाचुसेट्स में सुरक्षित और कानूनी गर्भपात तक पहुंच को मुद्दा बनाया था. हेली को आठ साल पहले देश की पहली खुले तौर पर समलैंगिक अटॉर्नी जनरल के रूप में चुना गया था. ऐसा माना जाता था कि मैसाचुसेट्स को अभिशाप लगा है कि कोई अटॉर्नी जनरल यहां का गवर्नर नहीं बन सकता. ऐसा इसलिए, क्योंकि 1958 के बाद से मैसाचुसेट्स के आठ अटॉर्नी जनरल ने गवर्नर पद के लिए चुनाव लड़ा और हार गए.
मौरा हेली मैसाचुसेट्स की पहली महिला गवर्नर चुनी गई हैं लेकिन वह कार्यालय में सेवा देने वाली पहली महिला नहीं हैं. 2001 में तत्कालीन लेफ्टिनेंट गवर्नर जेन स्विफ्ट मैसाचुसेट्स की कार्यवाहक गवर्नर बनाई गई थीं जब पॉल सेल्युसी ने कनाडा में राजदूत बनने के लिए इस पद से इस्तीफा दे दिया था. स्विफ्ट को कभी गवर्नर नहीं चुना गया था.
भारतीय मूल की अरुणा मिलर ने भी रचा इतिहास
भारतीय मूल की अमेरिकी नेता अरुणा मिलर ने मैरीलैंड में लेफ्टिनेंट गवर्नर का चुनाव जीता है. यहां ऐसा करने वाली वह पहली आप्रवासी बन गई है. अपनी जीत के तुरंत बाद मिलर ने ट्वीट किया, ”1972 में जब मैं इस देश में आई तो कभी भी अमेरिका से किए वादे के लिए उत्साहित होने से रुकी. मैं यह सुनिश्चित करने के लिए लड़ना कभी बंद नहीं करूंगी कि वादा सभी के लिए है और यह वादा एक ऐसे मैरीलैंड को बनाने की प्रतिबद्धता के साथ शुरू होता है जहां हम किसी को पीछे नहीं छोड़ते हैं.” 58 वर्षीय अरुणा मिलर मूल रूप से हैदराबाद की हैं. उनका परिवार जब अमेरिका में शिफ्ट हुआ, तब वह महज सात साल की थीं.
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